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राजस्थान इतिहास के महत्वपूर्ण प्रश्नोत्तरी SET 2

राजस्थान में होने वाली सभी एग्जाम के लिए महत्वपूर्ण प्रश्नोत्तर है इस टेबल में 101-200 प्रश्नोत्तर है जो सभी हिंदी में है और यदि आप यह नोट्स अपने Email पर पाना चाहते है तो Email subscribe करे और फेसबुक के लिए पेज को लाइक करे Like



101खातोली का युद्ध1518 ई. में राणा सांगा ने इब्राहीम लोदी को हराया
102हिन्दू देवी-देवताओं का अजायबघरविजयस्तंभ (चित्तोडगढ़)
103जोधा बाईजोधपुर के मोटा राजा उदयसिंह की पुत्री, वास्तविक नाम-जगत गुंसाई, जिसका विवाह 1587 ई. में जहाँगीर से हुआ, शाहजहाँ इसी का पुत्र था
104हरका बाईजयपुर के राजा भारमल की पुत्री, 1562 में अकबर से विवाह हुआ, जहाँगीर इसी का पुत्र था। जहाँगीरने इसे ‘मरियम उज्जमानी’ नाम दिया ।
105सुल्तान निस्साजयपुर के राजा भगवन्त दास की पुत्री, वास्तविक नाम – मान बाई / मनभावनी, इसका विवाह जहाँगीर से हुआ तथा खुसरो इसी का पुत्र था
106गुर्जर प्रतिहार शैली का अंतिम व सबसे भव्य मंदिरकिराडू का सोमेश्वर मंदिर (बाड़मेर)
107सबसे प्राचीन अंकित मंदिरशीतलेश्वर महादेव मंदिर (झालावाड़), 689 ई.
108‘हिंदुआ सूरज’मेवाड़ के राजा कहलाते थे
109उदयपुर के राज चिन्ह में अंकित पंक्तियाँ“जैदृढ़ राखै धर्मकोतिहिं राखै करतार ।”
110बीकानेर के राज चिन्ह में अंकित पंक्तियाँजय जांगलधर बादशाह
111गढ़ चिंतामणिजोधपुर के मेहरानगढ़ दुर्ग के ही अन्य नाम मोरध्वज व गढ़ चिंतामणि
112बप्पारावल का मूलनामकालभोज
113पद्मिनी के प्रिय तोते का नामहिरामन तोता
114रावल रतनसिंह का पंडीतराघव चेतन
115हिंदी का प्रथम महाकाव्यचंदवरदाई कृत ‘पृथ्वीराज रासो’
116प्रसिद्ध सूफी काव्यमलिक मोहम्मद जायसी कृत ‘पद्मावत’
117वंश भास्कर में कहाँ का इतिहास हैबूंदी का, रचयिता – सूर्यमल मिश्रण व उनके पुत्र मुरारीदास
118शब्दभेदी बाण से गौरी की मृत्यु का उल्लेखपृथ्वीराज रासो (पृथ्वीराजचौहानतृतीय ने चंदवरदाई का दोहा सुन शब्द भेदी बाण चलाकर मुहम्मद गौरी की हत्या की 
119किस ग्रन्थ में नायक द्वारा उड़ीसा जाकर हीरे लाना वर्णित है ?बीसलदेव रासो में (नरपति नाल्ह कृत) नायक बीसलदेव / विग्रहराज चतुर्थ अपनी रानी राजमती के कहने पर
120सर्वप्राचीन भूमिज शैली मंदिरसेवाड़ी का जैन मंदिर, पाली
121गिगोंली का युद्ध1807 ई. में उदयपुर की राजकुमारी कृष्णाकुमारी के साथ विवाह को लेकर जोधपुर के राजा मानसिंह व जयपुर के राजा जगतसिंह के मध्य यह युद्ध हुआ ।
122कौनसा राज्य मुगलों की देन हैकोटा
123सांभर झील के संस्थापकचौहान राजा वासुदेव
124महाकवि माघ की जन्मस्थलीभीनमाल(जालौर)
125किस गुहिल शासक ने इल्तुतमिश को हरायारावल जेत्र सिंह (बलबन को भी हराया)
126बाबर ने किस युद्ध को ‘जेहाद’ का नारा दियाखानवा के युद्ध (1527 ई.) को
127किस शासक के काल में मगरा क्षेत्र के जावर गाँव सीसा-चाँदी खान निकालीराणा लाखा के समय
128मेवाड़ केसरीमहाराणा प्रताप
129मरू केसरीदुर्गादास राठौड़
130मारवाड़ के अबुल फजलमुहणोंत नैणसी
131मारवाड़ का बीरबलबांकीदास
132मारवाड़ का ताजमहलजसवंत थड़ा
133ज्योतिष शासकजयपुर का सवाईजयसिंह
134ब्रजनिधिजयपुर के राजा सवाई प्रतापसिंह को। ‘ब्रजराज’ भरतपुर के राजा बंदन सिंह को कहा जाता है
135पाँचवा वेद/19 वां पुराण‘वेलि क्रिसन रुकमणी री’ (पृथ्वीराज राठौड़ द्वारा रचित) को कवि दुरसा आढा ने कहा
136‘सूरज प्रकाश’ के रचयिताकरणीदान (जोधपुर के राजा अभयसिंह के समय)
137‘वीर विनोद’ के रचयिताश्यामलाल दास
1381857 की क्रांति के समय राजपूताने के ए.जी.जी.जार्ज पैट्रिक लौरान्स
139राजपूताने का पहला ए.जी.जी.मिस्टर लाकेट
1401857 की क्रांति का राजस्थान में सूत्रपात28 मई 1857 को, अजमेर स्थित नसीराबाद की सैनिक छावनी में
141कुल सैनिक छावनियांकुल 6 सैनिल छावनियां है – नसीराबाद, एरिनपूरा (पाली), नीमच (म.प्र), देवली (टोंक), ब्यावर (अजमेर), खेरवाड़ा (उदयपुर)
142क्रांति में भाग नहीं लेने वाली छावनियांब्यावर व खेरवाड़ा
143‘चलो दिल्ली मारो फिरंगी’ नाराएरिनपूरा की छावनी के सैनिकों ने
144गौरों व कालों का युद्धआउवा के क्रांतिकारियों व अंग्रेजों के मध्य युद्ध
145जन विद्रोह के प्रमुख केंद्रकोटा, आउवा (पाली)
146मेजर बर्टन की हत्याकोटा में, 15 अक्टूबर 1857 को जयदयाल व मेहराब खां के नेतृत्व में क्रांतिकारियों ने कोटा के पॉलिटिकल एजेंट मेजर बर्टन का सिर काटकर पुरे शहर में घुमाया
147मेक मेसन की हत्या18 सितम्बर 1857 को आउवा (जोधपुर रियासत वर्तमान में पाली जिले में) के ठाकुर कुशालसिंह चंपावत के नेतृत्व में क्रांतिकारियों ने जोधपुर के पॉलिटिकल एजेंट  मेक मेसन की हत्या कर उसका शव आउवा के दुर्ग पर लटका दिया
148क्रांतिकारियों का दमन करने हेतु पंजाब तक कौन से राजा गयेबीकानेर के राजा सरदार सिंह
1491857 की क्रांति का भामाशाहअमरचंद बाठिया
150लक्ष्मीबाई व तात्याटोपे को धन द्वारा सहयोगअमरचंद बाठिया, इसी कारण अंग्रेजों ने इसे फासी की सजा दी
151आउवा के क्रांतिकारियों को किसने हराया20 जनवरी 1858 को कर्नल होम्स ने
152ठा. कुशाल सिंह को शरण देने वालेसलुम्बर के जागीरदार केशरसिंह एवं कोठारिया के जागीरदार जोधसिंह
1531857 की क्रांति के समय जोधपुर के राजातख्त सिंह
1541857 की क्रांति के समय जयपुर के राजासवाई राम सिंह द्वितीय
1551857 की क्रांति के समय कोटा के राजामहाराव रामसिंह
1561857 की क्रांति के समय उदयपुर के राजास्वरूप सिंह
157ठा. कुशाल सिंह चम्पावत की ईष्टदेवीसुगाली देवी (जिनकी मूर्ति के 10 सिर व 54 हाथ है)
158टोंक में जिनके नेतृत्व में विद्रोह हुआमीर आलम खां
1591857 की क्रांति में अंग्रेजों को सहयोग देने के कारण जयपुर के राम सिंह कोअंग्रेजों ने कोट कासिम का परगना दिया
160“यदि में राज्य को नौकरी करूँगा तो अंग्रेजों को बाहर निकाल फैंकने का काम कौन करेगा ”अर्जुन लाल सेठी का कथन
1611818 ई. में ईस्ट इण्डिया कम्पनी की ओर से संधि संपन्न करने वाला अधिकारीचार्ल्स मेटकॉफ
162हुरड़ा सम्मलेन17 जुलाई 1734 को जयपुर के राजा सवाई जयसिंह तथा उदयपुर के जगतसिंह ने मराठाओं के आक्रमण के विरुद्ध राजपूती राजाओं को एकत्र करने के उद्देश्य से भीलवाड़ा के हुरड़ा नामक स्थान पर सम्मलेन बुलाया
163अंतिम हिन्दू राजा जिसने अश्वमेध यज्ञ कियाजयपुर के राजा सवाई जयसिंह, जिनका पुरोहित पुण्डरीक रत्नाकर था
164तीन-तीन मुगल बादशाओ का काल किसने देखामिर्जाराजा जयसिंह ने, जहाँगीर, शाहजहाँ, औरंगजेब का
165सहायक संधि का जन्म दातालार्ड वेलेजली
166अंग्रेजों के साथ रक्षात्मक एवं आक्रामक संधि करने वाली पहली रियासतअलवर (14 नवम्बर 1803 को)
167दयानंद सरस्वती राजस्थान में सर्वप्रथम किस राज्य के राजकीय मेहमान के रूप में पधारेधौलपुर (1864 में.) वेदों की खोज हेतु
168“भारत माँ का पुत्र उसकी मुक्ति के लिए शहीद हो गया, इसके लिए मुझे बहुत प्रसन्नता है।“केसरीसिंह बारहठ ने अपने पुत्र प्रतापसिंह के शहीद होने पर ये कथन कहे।
169बिजोलिया किसान आन्दोलन कितने वर्ष तक चला44 वर्षों तक (1897-1941)
170विजयसिंह पथिक का वास्तविक नामभूपसिंह (बुलंदशहर, उत्तरप्रदेश)
171चूरू के धर्म स्तूप पर 26 जनवरी 1930 को राष्ट्रिय झंडा फहराने वालेक्रांतिकारी चन्दनमल बहड़
172बिजोलिया आन्दोलन के प्रचार-प्रसार का श्रेय किस समाचार-पत्र को जाता हैप्रताप समाचार-पत्र, जो कानपूर से प्रकाशित होता था तथा गणेश शंकर विद्यार्थी इसके संस्थापक संपादक थे। बाद में विजयसिंह पथिक भी प्रताप के संपादक रहे।
173कालीबाई(भील बालिका)1947 में अपने अध्यापक सेंगाभाई को बचाते हुए अंग्रेजों की गोली द्वारा रास्तापाल (डूंगरपुर) में शहीद।
174वैदिक मंत्रालय प्रिंटिंग प्रेसआर्य समाज द्वारा अजमेर में स्थापित
175बीकानेर में आजादी आन्दोलन के जनकमंघाराम वैध
176बावजीमोतीलाल तेजावत का उपनाम, जिन्हें ‘आदिवासियों का मसीहा’ भी कहा जाता है।
177“मेरी माँ को रोने दो जिससे किसी अन्य माँ को नहीं रोना पड़े। अपनी माँ को हँसाने के लिए मैं हजारों माताओं को रुलाना नहीं चाहता।“ –प्रतापसिंह बाहरठ के कथन, प्रतापसिंह बारहठ को बनारस षड्यंत्र केस में सजा होने पर गुप्तचर निदेशक चार्ल्स क्लीव लैंड ने बरेली पहुँचकर उनको माँ की बीमारी की खबर से आहत कर रास बिहारी बोस के बारे में जानकारी पूछने पर
178डूंगरपुर प्रजामंडल4 अगस्त 1944 को भोगीलाल पंड्या द्वारा स्थापित
179साका से तात्पर्यराजपूतों द्वारा केसरिया पहनकर युद्ध भूमि में शहीद होना तथा राजपूतानियों द्वारा दुर्ग में जोहर करना, ये दोनों घटनाएँ मिलकर ‘साका’ कहलाती है।
180दयानन्द सरस्वती को जहर कहाँ दिया गया ?जोधपुर में, महाराजा जसवंतसिंह सिंह की प्रेमिका नन्ही भक्तन (नन्ही जान) ने 29 सितम्बर 1883 को स्वयं को ‘कुतिया’ कहे जाने पर दूध में पीसा हुआ काँच मिलवाकर पिलवा दिया।
181दयानन्द सरस्वती की मृत्यु कहाँ हुई ?अजमेर में 30 अक्टूबर 1883 को दीपावली के दिन
182दयानन्द सरस्वती ने सत्यार्थ प्रकाश की रचना कहाँ की ?उदयपुर, के सज्जन निवास उद्यान में स्थित नवलखों महल में बैठकर की।
183सिसोदिया वंश का संस्थापकराणा हमीर (1326 ई. में जैसा सोनगरा को हराकर)
184कुम्भलगढ़ दुर्ग का वास्तुकारमंडन मिश्र
185हालगुरुगिरी दुर्गों का स्वामी होने के कारण राणा कुम्भा को कहा गया।
186राणोरासोविद्वान कवियों को आश्रय देने के कारण राणा कुम्भा को यह उपाधि दी गयी।
187हिन्दू सुरत्ताणतत्कालीन मुस्लिम शासकों ने राणा कुम्भा को हिन्दू सुरत्ताण (हिन्दू सुल्तान) कहा।
188मेवाड़ का भीष्मकुंवर चूंडा (राणा लाखा का पुत्र, जोधपुर की राजकुमारी हंसाबाई के साथ राणा लाखा के विवाह को लेकर भीष्म की तरह आजीवन ब्रह्मचारी रहने की प्रतिज्ञा की।)
189विषमघाटी पंचाननराणा हमीर को (कीर्ति स्तम्भ प्रशस्ति में उत्कीर्ण)
190‘एकलिंग महात्म्य’ के रचनाकारकान्ह व्यास, इसमें ‘राजवर्णन’ स्वयं राणा कुम्भा ने लिखा।
191कुम्भा के पिताराणा मोकल
192संग्राम सिंह के पितारायमल
193महाराणा प्रताप की मृत्यु कब, कहाँ ?1597 ई. में चावण्ड में
194जहाँगीर के दरबार में मेवाड़ से सर्वप्रथम कौन उपस्थित हुआअमर सिंह का पुत्र कर्णसिंह 1615 ई. में मुग़ल मेवाड़ संधि के पश्चात जहाँगीर के दरबार में उपस्थित हुआ।
195बीस माचातोड़राजसमन्द के राजा रायसिंह के समय मंदिर को बचाते हुए औरंगजेब की सेना से लड़ते हुए शहीद
196हरावल प्रतियोगितामेवाड़ के अमरसिंह सिसौदिया के समय चुण्डावत (जैतसिंह) व शक्तावतों (बल्लु) के बीच हरावल (सेना का अग्र भाग) दस्ते में रहने के लिए ऊंटाला दुर्ग (वल्लभगढ, उदयपुर) कको जीतने की प्रतियोगिता हुई।
197सबसे बड़ी राजप्रशस्तिराजसमन्द प्रशस्ति, राजसमन्द झील के उत्तरी सिरे पर 9 चौकी पर 25 शिलालेखों पर रणछोड़ भट्ट द्वारा संस्कृत भाषा में लिखी हुई मेवाड़ की राजप्रशस्ति
198कुम्भा कालीन जैनाचार्यसोम सुंदर सूरी, जयशेखर सूरी, भुवन कीर्ति एवं सोमदेव
199पाथलमहाराणा प्रताप को
200पीथलबीकानेर के पृथ्वी राज राठौड़ को




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